स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव आज जाएंगे सुपेबेड़ा.. किडनी की बीमारी से पीड़ितों से जगी उम्मीदें..

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रायपुर@ परमेश्वर साहू। 01 अक्टूबर 2019। स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव आज यानि 2 अक्टूबर को गरियाबंद जिले के सुपेबेड़ा जाएंगे। वे 2 अक्टूबर को सवेरे साढ़े सात बजे रायपुर से हेलीकॉप्टर द्वारा सुपेबेड़ा के लिए रवाना होंगे। वे सवेरे साढ़े आठ बजे सुपेबेड़ा पहुंचेंगे। मंत्री सिंहदेव सवेरे साढ़े नौ बजे हेलीकॉप्टर द्वारा सुपेबेड़ा से वापस रायपुर के लिए प्रस्थान करेंगे। वे सवेरे साढ़े 10 बजे विधानसभा हैलीपेड पहुंचकर विधानसभा के विशेष सत्र में शामिल होंगे।

बताना लाजमी है कि यह पहली मर्तबा है जब छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के सत्ता में आने के बाद कोई मंत्री सुदूर वनांचल गांव सूपेबेडा पहुंच रहे हैं। मंत्री टी एस सिहदेव के सुपेबेड़ा आगमन से यहां के लोगों में एक बार फिर उम्मीद जगी है कि उन्हें किडनी की बीमारी से निजात दिलाने कोई पहल किया जाएगा। 15 साल तक राज्य में सत्ता काबिज पिछली भाजपा सरकार से सुपेबेडा वासियों को मायूसी के अलावा कुछ नहीं मिल पाया। जिसके चलते किडनी की बीमारी ने सुपेबेड़ा में दस्तक देकर मौत का तांडव मचा रखा है।

सुपेबेड़ा गरियाबंद जिला के उड़ीसा सीमावर्ती में देवभोग ब्लॉक में स्थित है। सुपेबेड़ा को भला कौन नहीं जानता। यहां लोग मौत के साए में जिंदगी गुजारते हैं। जहां 3 सालों में 70 लोगों की मौत केवल किडनी की बीमारी से हुई है। वही अभी भी 100 लोग किडनी के बीमारी से ग्रसित है। ऐसे में छत्तीसगढ़ के दिग्गज मंत्री टी एस सिहदेव के सुपेबेड़ा दौरे से लोगों में एक उम्मीद की किरण फिर से जगी है। लोगों की नजर अब सुपेबेड़ा पर बनी हुई है की छत्तीसगढ़ के नए वह वर्तमान सरकार इस दिशा में क्या कदम उठाएगा।

एक बार पुन बता दे की सुपेबेड़ा में किडनी की बीमारी हो रही लगातार मौतों के मामले में ये बात सामने आ चुकी है कि जिन 7 घरों से पानी के 15 सैंपल लिए गए थे, सभी में किडनी के लिये घातक कैडमियम व क्रोमियम जैसी धातु होने की पुष्टि हुई है। ये पुष्टि जांच रिपोर्ट 2017 में ही हो गई थी। बावजूद इसके न रिपोर्ट सार्वजनिक की गई और न ही क्रोमियम और कैडमियम जैसे धातु से निपटने के लिए शासन के स्तर पर कोई इंतजाम किए गए। बल्कि शासन ने करोड़ों रुपए खर्च कर आर्सेनिक और फ्लोराइड रिमूवल प्लांट लगाकर खानापूर्ति कर दी।