पंजाब कांग्रेस में फिर सियासी बवाल, सिद्धू के पीछे इस्तीफों की लगी झड़, दो मंत्रियों ने किया रिजाइन….

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पंजाब। नवजोत सिंह सिद्धू ने पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष पद से इस्तीफ़ा क्या दिया प्रदेश संगठन और सरकार में इस्तीफों की झड़ी लग गई। एक के बाद एक पंजाब कांग्रेस के कई बड़े नेताओं के इस्तीफ़े हो गए हैं। 28 सितंबर की दोपहर सिद्धू ने इस्तीफ़ा दिया। शाम होते-होते योगिंदर ढींगरा, गुलज़ार इंदर चहल, गौतम सेठ, परगट सिंह और रज़िया सुल्ताना ने सिद्धू के समर्थन में इस्तीफे दे दिए। ढींगरा और गौतम सेठ स्टेट पार्टी यूनिट के महासचिव थे। इंदर चहल पंजाब कांग्रेस के कोषाध्यक्ष थे। जबकि रज़िया सुल्ताना और परगट सिंह राज्य सरकार में कैबिनेट मंत्री के तौर पर शामिल थे।
ख़ास बात ये है कि रजिया सुल्ताना और परगट सिंह ने अभी दो दिन पहले यानी 26 सितंबर को ही मंत्री पद की शपथ ली थी। उन्हें पंजाब के नवनियुक्त मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के कैबिनेट में जगह मिली थी। लेकिन दोनों सिद्धू खेमे के नेता माने जाते हैं, सो उनके रिजाइन के पीछे-पीछे इन दोनों ने भी रिजाइन कर दिया है।

मिली जानकारी के मुताबिक, इस्तीफे के बाद रज़िया सुल्ताना ने कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू उसूलों वाले आदमी हैं, इसलिए वे उनके साथ हैं। बता दें कि रज़िया सुल्ताना के पति मोहम्मद मुस्तफा, नवजोत सिंह सिद्धू के सलाहकार हैं। वहीं, परगट सिंह के बारे में जानकारी है कि उन्हें सिद्धू के घर जाते देखा गया था, जहां उन्होंने अपने समर्थक नेताओं के साथ मीटिंग की है।
ख़ास बात ये है कि रजिया सुल्ताना और परगट सिंह ने अभी दो दिन पहले यानी 26 सितंबर को ही मंत्री पद की शपथ ली थी। उन्हें पंजाब के नवनियुक्त मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के कैबिनेट में जगह मिली थी। लेकिन दोनों सिद्धू खेमे के नेता माने जाते हैं, सो उनके रिजाइन के पीछे-पीछे इन दोनों ने भी रिजाइन कर दिया है।

इस्तीफे के बाद रज़िया सुल्ताना ने कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू उसूलों वाले आदमी हैं, इसलिए वे उनके साथ हैं। बता दें कि रज़िया सुल्ताना के पति मोहम्मद मुस्तफा, नवजोत सिंह सिद्धू के सलाहकार हैं। वहीं, परगट सिंह के बारे में जानकारी है कि उन्हें सिद्धू के घर जाते देखा गया था, जहां उन्होंने अपने समर्थक नेताओं के साथ मीटिंग की है।
इससे पहले नवजोत सिंह ने सिद्धू ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को संबोधित करते हुए अपने इस्तीफ़े में लिखा था,

“किसी भी इंसान के चरित्र का पतन उसके किए समझौते की वजह से ही होता है। मैं कभी भी पंजाब के भविष्य और उसके हितों के साथ समझौता नहीं कर सकता। इसलिए पंजाब कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष पद से इस्तीफ़ा देता हूं। मैं कांग्रेस की सेवा करना जारी रखूंगा।”

इस पर तंज कसते हुए पंजाब के पूर्व CM अमरिंदर सिंह ने ट्वीट किया था,

“जैसा कि मैंने कहा था कि वो स्थिर इंसान नहीं हैं और पंजाब जैसे सीमावर्ती राज्य के लिए उपयुक्त नहीं हैं।”

इस्तीफ़े के पीछे सरकारी नियुक्तियों और मंत्रालयों के बंटवारे में सिद्धू के मन का न होने की बात कही जा रही है। बताया जा रहा है कि कुछ अधिकारियों, और खासतौर पर महाधिवक्ता की नियुक्ति को लेकर सिद्धू खासे नाखुश थे। वहीं CM चन्नी ने कहा कि अगर सिद्धू किसी बात पर नाराज़ हैं तो उनसे मिलकर बात की जाएगी और सब ठीक हो जाएगा।