महिला SDM का पुलिस अधिकारी पर गंभीर आरोप.. बिना इजाजत कमरे में घुसने और आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल करने की कलेक्टर से शिकायत.. संजीव झा बोले- घटना की होगी जांच..

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बलरामपुर@आकाश साहू 30 अप्रैल, 2020। लॉकडाउन में जिले में एक अजीब सा मामला सामने आया है। जानकारी के मुताबिक बलरामपुर की SDM ज्योति बबली बैरागी और SDOP भुवेश जायसवाल के बीच विवाद तूल पकड़ता जा रहा है। एसडीएम ने इस मामले में अब कलेक्टर संजीव झा को पत्र लिखकर SDOP पर FIR दर्ज करने और विभागीय कार्रवाई की मांग की है। ढाई पेज की लंबी शिकायत में महिला अधिकारी ने पुलिस विभाग के अफसर पर बिना इजाजत कमरे में घुसने, रेस्ट हाउस में उनके रूम में दूसरो को ठहराने, आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल करते हुए फोन पर बात करने सहित कई और गंभीर आरोप लगाये हैं। इस मामले में बलरामपुर के कलेक्टर संजीव झा ने कहा-मेरे संज्ञान में ये घटना आई है…निश्चित तौर पर इसकी जांच की जाएगी।

SDM ज्योति ने 17 फरवरी को वाड्रफनगर में चार्ज लिया था। महिला अधिकारी का आरोप है कि SDM का चार्ज लेने के बाद जब उन्होंने बैठक बुलायी तो भी SDOP उसमें नहीं आये, वहीं अन्य बैठक में भी वो नहीं पहुंचे और पूछने पर फोन पर बदतमीजी से जवाब दिया। आरोप है कि SDOP खुद को सीनियर बताते हैं, लिहाजा जूनियर SDM का उन्हें इस तरह बैठक में बुलाना सही नहीं लगता ।

पत्र में सबसे गंभीर आरोप रेस्ट हाउस के विवाद को लेकर है। शिकायती पत्र में 22 अप्रैल की तारीख का जिक्र करते हुए महिला अधिकारी ने कहा कि वो कोरोना के मद्देनजर दौरे पर तहसीलदार के साथ निकली थी और रात करीब 8 बजे जब वो पीडब्ल्यूडी के रेस्ट हाउस लौटी तो उनके कमरे में किसी और व्यक्ति ठहरा हुआ मिला। जब कर्मचारियों से बात की गयी तो जानकारी दी गयी कि एसडीओपी के निर्देश पर उन्हें ठहराया गया है। इस मामले में कड़ी आपत्ति के बाद उनका कमरा खाली किया गया, लेकिन जैसे ही वो कमरे के अंदर दाखिल हुई, कुछ देर में बिना इजाजत लिये ही SDOP उऩके कमरे में दाखिल हो गये। जिसके बाद दोनों में जमकर विवाद हो गया। जैसा कि रिपोर्टर के न्यूज सोर्स ने बताया।

आरोप है कि एसडीओपी ने उन्हें जेल भेजने की धमकी देने के साथ-साथ पुलिस अधिकारी होने की धौंस दिखायी। बाद में उस अधिकारी और उनके परिवार को लेकर एसडीओपी फारेस्ट विभाग के गेस्ट हाउस में चले गये। इधर, इसके बाद इस मामले में एसडीएम ने कलेक्टर से शिकायत की तो उन्हें जानकारी दी गयी, जिस व्यक्ति को ठहराया गया था, दरअसल वो IPS अधिकारी थे।

वहीं SDOP भुवेश जायसवाल ने तमाम आरोपों से इनकार करते हुए अधिकारियों के सामने अपना पक्ष रखने की बात कही है। वही एसडीएम ज्योकि बबली के मोबाइल से कई दफा संपर्क करने की कोशिश की गयी, लेकिन उन्होंने फोन रिसिव नहीं किया।

लॉकडाउन में SP रैंक के अफसर गेस्ट हाउस में क्या कर रहे थे। हालांकि इस शिकायत में एसपी स्तर के अधिकारी के गेस्ट हाउस में रूकने का जिक्र है, वो बेहद हैरान करने वाला है, क्योंकि लॉकडाउन में जब कहीं आने-जाने की मनाही है तो फिर वो अफसर गेस्ट हाउस अपने परिवार के साथ पहुंचे कैसे। हालांकि शिकायत में पुलिस अधीक्षक रैंक के अफसर का जिक्र तो है, लेकिन उसकी पहचान का जिक्र नहीं किया गया है।

कलेक्टर बोले- जांच होगी

इस मामले में कलेक्टर संजीव झा ने कहा कि “शिकायत पर अभी मैं कुछ नहीं कह सकता, ये एक प्रशासनिक मामला है, इस मामले में इन्क्वायरी के बाद ही मैं कुछ कर पाऊंगा, अभी इन्क्वायरी की प्रोसेस चल रही है, उसके बाद भी मेरा कहना सही होगा”।

SDOP बोले- जांच टीम के सामने रखूंगा बात

इस मामले में वाड्रफनगर के एसडीओपी भुवेश जायसवाल ने तमाम आरोपों को गलत बताया…उन्होंने कहा कि “मेरे पर आरोप गलत है, लेकिन इस प्रकरण पर मुझे अभी कुछ नहीं कहना है, बड़े अधिकारियों के संज्ञान में पूरी बात है, उम्मीद है कि मुझे मेरा पक्ष रखने का मौका मिलेगा, जांच टीम के सामने अपनी पूरी बातें कहूंगा, फिर खुद ही सच्चाई सबके सामने आ जायेगी”।